कप्तानगंज मे पुस्तक विमोचन के साथ काव्य गोष्ठी का हुआ आयोजन,
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Publish Date: 19-05-2024
बूढ़नपुर तहसील क्षेत्र के कप्तानगंज स्थित एक मैरिज हॉल में में आज दोपहर कवि सम्मेलन एवं साहित्यिक विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया इसी अवसर पर गोपालगंज के समाज चिंतक लाल बहादुर चौरसिया लाल की काव्य पुस्तक मैं मधुमास ढूंढने आया का विमोचन किया गया कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रूप में डॉक्टर जीतेन्द्र पाण्डेय साहित्यकार ने साहित्य के बारे में कहा कि साहित्य समाज का दर्पण होता है साहित्य से ही स्वच्छ समाज का निर्माण किया जाता है विशिष्ट अतिथि के रूप में लेखक एवं गीतकार वाले दिन बेसहारा और पंडित सुभाष चंद्र तिवारी ने भी अपने विचार रखें अध्यक्षता पूर्व प्रवक्ता प्रोफ़ेसर जी एस एस पी जी कॉलेज कोयलसा के डॉक्टर श्यामवृक्ष मौर्य द्वारा पुस्तक का विमोचन किया गया उन्होंने बताया कि हमारे क्षेत्र के कवियों का आज सम्मान भी किया गया जिसमे अपने भी है मैं मदमाश ढूंढने आया और आंसू से मुस्कान लिखेंगे के कवि लाल बहादुर चौरसिया सम्मानित किया गया काव्य पाठ को संबोधित करते हुए मुख्य वक्त साहित्य भूषण सम्मानित कवि डॉक्टर राजाराम सिंह ने कहा कि साहित्य समाज का दर्पण होता है कवि की रचना सजृन होती है जो एक उद्गार को पैदा करती है भविष्य को सँवारने में कवियों की अहम भूमिका होती है साहित्यकार विजय प्रताप बुढनपुरी ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि कविता आंसू से मुस्कान लिखेंगे और मैं मधुमास ढूंढने आया उसी पर आधारित काव्य पुस्तक का आज विमोचन किया गया यह बड़े ही सौभाग्य की बात है समाज में सच्ची घटनाओं पर आधारित लेख और कविता लोगों को जगाने का काम करती हैं कार्यक्रम के आयोजन कवि लाल बहादुर चौरसिया लाल ने समाज में बढ़ रही कुरीतियों के बारे में चिंता व्यक्त की उन्होंने कहा कि कवि ही समाज का पथ प्रदर्शक होता है भविष्य को सजाने में कवियों की बहुत ही बड़ा महत्व पूर्ण योगदान होता है पथ भटके युवक का सहारा है कविता नाविक की जलधारा है कविता रुके हुए को चलने का सहारा है कविता किसी को खोए हुए पंखों पाना ही भोजपुरी लोक गीत गायक भारती ने भी अपने गीत के माध्यम से समा बांधने का काम किया कविता के इसी क्रम में एक दर्जन से अधिक साहित्यकार एवं कवियों ने अपने विचार रखे कवि विजय प्रताप यादव ने हिंदू मुस्लिम एकता के बारे में कविता पाठ किया कवि भालचंद्र त्रिपाठी द्वारा समाज की राजनीतिक पृष्ठभूमि से लेकर के हास्य व्यंग आत्मक कविता के माध्यम से लोगों का खूब मनोरंजन किया गया कुशल संचालक घनश्याम यादव द्वारा आए हुए आगंतुकों का आभार व्यक्त किया गया इस मौक कवि ताज आजमी सरोज यादव महेंद्र मृदुल विजय प्रताप यादव आदित्य दुबे एमके वाले दिन बेसहारा ईश्वर चंद त्रिपाठी सहित अनेक श्रोता गण मौजूद रहे